स्वर संधि — अच् संधि के प्रकार

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Oct 28, 2018

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दो स्वरों के मेल से होने वाले विकार (परिवर्तन) को स्वर-संधि कहते हैं। उदाहरण– हिम+आलय= हिमालय, अत्र + अस्ति = अत्रास्ति, भव्या + आकृतिः = भव्याकृतिः, कदा + अपि = कदापि।

swar sandhi ke bhed

संस्कृत में स्वर-संधि आठ प्रकार की होती हैं-

  1. दीर्घ संधि
  2. गुण संधि
  3. वृद्धि संधि
  4. यण् संधि
  5. अयादि संधि
  6. पूर्वरूप संधि
  7. पररूप संधि
  8. प्रकृति भाव संधि

संस्कृत व्याकरण में आठ प्रकार की स्वर संधि का अध्ययन किया जाता है। जबकि हिन्दी व्याकरण में केवल पाँच प्रकार की संधि (दीर्घ संधि, गुण संधि, वृद्धि संधि, यण् संधि, अयादि संधि) का अध्ययन किया जाता है।

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